महाराष्ट्र सरकार के पूर्व मंत्री आदित्य ठाकरे ने मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे गुट के विधायकों को इस्तीफा देने और चुनाव का सामना करने की चुनौती दी। एक कार्यक्रम में आदित्य ठाकरे ने संकेत दिया कि आगामी बीएमसी चुनावों में शिवसेना आवास, गुणवत्तापूर्ण शिक्षा, स्वास्थ्य सेवा, सड़क और सार्वजनिक परिवहन के मुद्दों को उठाएगी। शिवसेना नेता ने पूछा कि हमने आपको (शिंदे गुट) सबकुछ दिया,आपने हमारे पीठ में छुरा क्यों घोंप दिया। चुनाव का सामना करने के लिए आपने इस्तीफा क्यों नहीं दिया, जैसाकि हर लोकतंत्र में होता है। शिंदे गुट और शिवसेना के 55 विधायकों में से 39 के विद्रोह के चलते इस साल जून के माह में उद्धव ठाकरे के नेतृत्व वाली महाविकास अघाड़ी सरकार गिर गई थी। आदित्य ठाकरे ने शिंदे खेमे और भारतीय जनता पार्टी को तुरंत चुनाव का सामना करने की चुनौती दी। उन्होंने कहा, अब बीएमसी चुनाव का सामना करें। इस्तीफा दें और चुनाव का सामना करें। हम जनता के जनादेश को स्वीकार करेंगे। मुंबई वालों को पता है कि हमने कोविड-19 महामारी के दौरान शहर के लिए क्या किया है। बता दें कि भाजपा आगामी बीएमसी चुनावों के लिए शिवसेना के खिलाफ आक्रामक अभियान शुरू कर चुकी है जो पिछले दो दशकों से नगर निकाय पर शासन कर रही है। आदित्य ने कहा कि मुंबई की विकास दर की तुलना शंघाई या सिंगापुर से नहीं की जानी चाहिए।
उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने क्या कहा?
वहीं महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने भी उद्धव ठाकरे पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि शिवसेना में विभाजन के लिए उनकी कार्यशैली जिम्मेदार थी। उन्होंने यह भी माना कि वरिष्ठ राकांपा नेता अजीत पवार पर भरोसा करना सबसे बड़ी राजनीतिक भूल थी। उन्होंने कहा कि पीठ में छुरा घोंपने का बदला लेने के लिए यह जरूरी था कि व्यक्ति लंबे समय तक जीवित रहे। साल 2019 के विधानसभा चुनाव परिणामों के बाद फडणवीस और पवार ने राज्य के मुख्यमंत्री और उप मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली थी। हालांकि पवार ने पवार के पद छोड़ने के साथ ही 80 घंटे बाद उनकी सरकार चली गई थी। फडणवीस ने कहा कि राज्य के हालिया राजनीतिक उथल-पुथल के लिए केवल उद्धव ठाकरे को दोषी ठहराया जाना चाहिए और शिवसेना में विभाजन उनकी कार्यशैली की वजह से हुआ। फडणवीस ने कहा, महाराष्ट्र में राजनीतिक हार और संकट के लिए केवल उद्धव ठाकरे जिम्मेदार हैं। उनकी कार्यशैली शिवसेना के लिए जिम्मेदार है। लगभग 30-40 विधायकों ने महाविकास अघाड़ी गठबंधन को छोड़ दिया और उन्हें इसके बारे में कोई जानकारी नहीं थी। भाजपा के वरिष्ठ नेता ने कहा, “उद्धव जी कहा करते थे- आप मेरी सरकार गिराने की कोशिश कर सकते हैं। मैंने कहा-एक दिन आपकी सरकार गिर जाएगी और आपको इसका एहसास भी नहीं होगा और ठीक ऐसा ही हुआ।”
उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने क्या कहा?
वहीं महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने भी उद्धव ठाकरे पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि शिवसेना में विभाजन के लिए उनकी कार्यशैली जिम्मेदार थी। उन्होंने यह भी माना कि वरिष्ठ राकांपा नेता अजीत पवार पर भरोसा करना सबसे बड़ी राजनीतिक भूल थी। उन्होंने कहा कि पीठ में छुरा घोंपने का बदला लेने के लिए यह जरूरी था कि व्यक्ति लंबे समय तक जीवित रहे। साल 2019 के विधानसभा चुनाव परिणामों के बाद फडणवीस और पवार ने राज्य के मुख्यमंत्री और उप मुख्यमंत्री के रूप में शपथ ली थी। हालांकि पवार ने पवार के पद छोड़ने के साथ ही 80 घंटे बाद उनकी सरकार चली गई थी। फडणवीस ने कहा कि राज्य के हालिया राजनीतिक उथल-पुथल के लिए केवल उद्धव ठाकरे को दोषी ठहराया जाना चाहिए और शिवसेना में विभाजन उनकी कार्यशैली की वजह से हुआ। फडणवीस ने कहा, महाराष्ट्र में राजनीतिक हार और संकट के लिए केवल उद्धव ठाकरे जिम्मेदार हैं। उनकी कार्यशैली शिवसेना के लिए जिम्मेदार है। लगभग 30-40 विधायकों ने महाविकास अघाड़ी गठबंधन को छोड़ दिया और उन्हें इसके बारे में कोई जानकारी नहीं थी। भाजपा के वरिष्ठ नेता ने कहा, “उद्धव जी कहा करते थे- आप मेरी सरकार गिराने की कोशिश कर सकते हैं। मैंने कहा-एक दिन आपकी सरकार गिर जाएगी और आपको इसका एहसास भी नहीं होगा और ठीक ऐसा ही हुआ।”