भाजपा और कांग्रेस के बीच सोशल मीडिया पर जारी पोस्टर वार दिन-प्रतिदिन तेज होता जा रहा है। केंद्र में सत्तारूढ़ भाजपा ने गुरुवार को एक्स पर राहुल गांधी का पोस्टर साझा किया, जिसमें उन्हें नए युग का रावण दिखाया गया है। अब अपने भाई की बचाव में कांग्रेस नेता प्रियंका गांधी वाड्रा उतर आई हैं। वह जमकर भाजपा पर भड़कीं और कहा कि क्या नरेंद्र मोदी अपने वादों की तरह कसमें भी भूल गए हैं। वाड्रा ने सोशल मीडिया एक्स पर हिंदी में ट्वीट कर निशाना साधा। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और जेपी नड्डा से पूछा कि वह राजनीति को गिरावट की कौन-सी मंजिल तक ले जाना चाहते हैं? उन्होंने लिखा, ‘नरेंद्र मोदी जी और जेपी नड्डा जी! आप राजनीति और बहस-मुबाहसे को गिरावट की कौन-सी मंजिल तक ले जाना चाहते हैं? आपकी पार्टी के आधिकारिक ट्विटर हैंडल से जो हिंसक और उकसाऊ ट्वीट किए जा रहे हैं, क्या उसमें आपकी सहमति है ? ज्यादा समय नहीं बीता, आपने शुचिता की कसम खाई थी। क्या वादों की तरह कसमें भी भूल गए हैं ?’ इससे पहले कांग्रेस ने एक्स पर ही पीएम नरेंद्र मोदी की तस्वीर सबसे बड़ा झूठा शीर्षक के साथ साझा की थी। साथ ही एक अन्य पोस्टर में पीएम को जुमला बॉय कहा गया था। कांग्रेस के पोस्टरों के जवाब में भाजपा ने अपने आधिकारिक हैंडल पर राहुल गांधी का कई सिर वाला पोस्टर जारी किया। पोस्टर में कांग्रेस नेता को अरबपति निवेशक जॉर्ज सोरोस से भी जोड़ा गया है, जिन पर भारत विरोधी गतिविधियों में शामिल होने का आरोप लगाया गया है। भाजपा ने लिखा कि नए युग का रावण है। धर्म विरोधी है। राम विरोधी है। इसका लक्ष्य भारत को नष्ट करना है। वहीं, कांग्रेस नेता केसी वेणुगोपाल ने भाजपा द्वारा पोस्ट किए गए राहुल गांधी के ग्राफिक को शर्मनाक बताया। उन्होंने कहा, ‘’राहुल गांधी की तुलना रावण से करने वाले भाजपा के हैंडल पर ‘शर्मनाक’ ग्राफिक की निंदा करने के लिए कोई शब्द नहीं है। उनके नापाक इरादे साफ हैं, वो लोग उनकी हत्या करना चाहते हैं। उन्होंने तुच्छ राजनीतिक लाभ लेने के लिए उनकी एसपीजी सुरक्षा वापस ले ली।’
राहुल के खिलाफ लोगों को उकसा रहे
कांग्रेस सांसद मनिकम टैगोर ने कांग्रेस नेता को रावण के रूप में दिखाए जाने पर कहा कि भाजपा लोगों को राहुल गांधी के खिलाफ हिंसा करने के लिए उकसा रहे हैं। वह एक ऐसे नेता हैं, जिन्होंने हिंसा में अपने पिता और दादी को खो दिया है। टैगोर ने आगे कहा कि एक राष्ट्रीय पार्टी की ओर से इस तरह की प्रचारात्मक बातें दुर्भाग्यपूर्ण और निंदनीय हैं। पीएम मोदी और जेपी नड्डा को इसका जवाब देना चाहिए। उन्हें इसके लिए माफी मांगनी चाहिए। विपक्षी नेताओं के प्रति इस तरह का हिंसक व्यवहार अस्वीकार्य है।